नई दिल्ली। देश के वाहन उद्योग ने नोटबंदी के बाद फरवरी में पहली बार पटरी पर लौटने के संकेत दिये हैं। लगातार तीन महीने की गिरावट के बाद गत महीने देश में सभी श्रेणी के वाहनों की कुल बिक्री 0.94 प्रतिशत बढक़र 17,19,699 पर पहुँच गयी। पिछले साल फरवरी में घरेलू बाजार में 17,03,736 वाहन बिके थे।
यात्री वाहनों की बिक्री फरवरी में 9 प्रतिशत बढ़ी, कार की बिक्री में 4.9 प्रतिशत का इजाफा
पिछले साल 08 नवंबर को सरकार द्वारा 500 रुपये और एक हजार रुपये के पुराने नोटों को रातों-रात प्रचलन से बाहर कर दिये जाने के बाद नवंबर में वाहनों की घरेलू बिक्री 5.48 प्रतिशत, दिसंबर में 18.66 प्रतिशत तथा जनवरी में 4.71 प्रतिशत गिरी थी।
वाहन निर्माता कंपनियों के संगठन सियाम के महानिदेशक विष्णु माथुर ने आज यहाँ बिक्री के आँकड़े जारी करते हुये कहा यात्री वाहनों तथा वाणिज्यिक वाहनों की बिक्री में फरवरी में स्थिर सुधार रहा है। दुपहिया वाहनों की बिक्री में भी गिरावट बेहद मामूली (0.01 प्रतिशत) रह गयी है। हालाँकि, तिपहिया वाहनों में अभी भी बड़ी गिरावट बनी हुई है।
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आँकड़ों के अनुसार, इस साल फरवरी में घरेलू बाजार में कुल 2,55,359 वाहन बिके जो पिछले साल फरवरी के 2,34,244 से 9.01 प्रतिशत अधिक हैं। इसमें यात्री कारों की बिक्री 4.90 फीसदी बढक़र 1,72,623 पर, एसयूवी समेत उपयोगी वाहनों की बिक्री 21.79 प्रतिशत बढक़र 65,877 पर तथा वैनों की बिक्री 8.10 प्रतिशत बढक़र 16,859 पर पहुँच गयी।
श्री माथुर ने बताया कि यात्री वाहनों की बिक्री इस साल जनवरी में 14.40 प्रतिशत बढ़ी थी जिसके बाद फरवरी में माँग कुछ कम रही है। मार्च में डीलरों की ओर से दुबारा खरीद बढऩे से बिक्री के बेहतर आँकड़ों की उम्मीद है।
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