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pc: kalingatv
मुंबई की एक विशेष अदालत ने इंडियन ओवरसीज बैंक (आईओबी) से जुड़े 180 करोड़ रुपये के लोन डिफॉल्ट मामले में भगोड़े कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ गैर-जमानती वारंट (एनबीडब्ल्यू) जारी किया है।
29 जून को विशेष सीबीआई अदालत के न्यायाधीश एस.पी. नाइक निंबालकर ने श्री माल्या के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया था और 1 जुलाई को विस्तृत आदेश उपलब्ध कराया गया था।
अदालत ने कहा, "मौजूदा मामला 2007-2012 के बीच इंडियन ओवरसीज बैंक द्वारा विजय माल्या और उनकी कंपनी को दिए गए लगभग 180 करोड़ रुपये के कई लोन का है। इस मामले में विजय माल्या सहित कुल 10 आरोपी हैं और इस मामले में अगस्त 2016 में एफआईआर दर्ज की गई थी।"
अदालत ने कहा, "सभी आरोपियों को पेश होने के लिए समन जारी किया गया है, लेकिन विजय माल्या के लिए विशेष सीबीआई अदालत ने गैर-जमानती वारंट भी जारी किया है।"
वह वर्तमान में लंदन में है, माल्या भारत सरकार से प्रत्यर्पण अनुरोधों का सामना कर रहा है। जारी किया गया गैर-जमानती वारंट सीबीआई द्वारा दर्ज धोखाधड़ी के एक मामले से संबंधित है, जिसमें माल्या पर 2007 से 2012 के बीच आईओबी से किंगफिशर एयरलाइंस को मिले ऋण को अन्यत्र स्थानांतरित करने का आरोप लगाया गया है।
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