देहरादून। चार माह पहले उत्तराखंड में सियासी तूफान का सबब बने राज्य पुलिस के घोड़े ‘शक्तिमान’ की उत्तराखंड विधानसभा के पास रिस्पना पुल पर दो दिन पहले लगाई गई प्रतिमा को मंगलवार को हटा दिया गया। माना जा रहा है कि ड्यूटी पर घायल होने की वजह से जान गंवाने वाले शक्तिमान की प्रतिमा लगाने के बाद सोशल मीडिया सहित जनता में हुई तीव्र प्रतिक्रिया के चलते उसे हटा लिया गया है।
इस बीच, शक्तिमान की एक और प्रतिमा देहरादून पुलिस लाइन्स में स्थापित कर दी गई है। लेकिन रिस्पना पुल पर लगी प्रतिमा पर हुई प्रतिक्रिया के मद्देनजर मुख्यमंत्री हरीश रावत ने इसका अनावरण करने से इनकार कर दिया है। पुलिस सूत्रों ने बताया कि पुलिस लाइन्स में लगी प्रतिमा को वहीं स्थापित रहेगी और उसे नहीं हटाया जाएगा।
उधर, रिस्पना पर लगी प्रतिमा के विरोध के चलते उसे लगाने वाली संस्था मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण ने उसे रातों रात हटा लिया और हटाने के कारण को लेकर कुछ भी कहने से इंकार कर दिया। गत 14 मार्च को बीजेपी की राजनीतिक रैली के दौरान पैर टूटने से घायल हुए शक्तिमान को लेकर प्रदेश में सियासी तूफान पैदा हो गया था।
राज्य पुलिस ने इस संबंध में मसूरी से भाजपा विधायक गणेश जोशी तथा दो अन्य भाजपा कार्यकर्ताओं पर मुकदमा दर्ज कर उनको गिरफ्तारी भी किया था। घायल शक्तिमान का देश-विदेश के चिकित्सकों से उपचार कराया गया, लेकिन उसे बचाया नहीं जा सका और एक माह से ज्यादा समय तक चोट से जूझने के बाद गत 20 अप्रैल को उसने दम तोड दिया।