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इंटरनेट डेस्क। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने भारतीय रेलवे में कार्यरत ट्रैकमैन की परेशानियों को लेकर अपनी बात कही है। राहुल गांधी ने इस संबंध में सोशल मीडिया के माध्यम से इन लोगों का दर्द व्यक्त किया है।
राहुल गांधी ने इस संबंध में ट्वीट किया कि रेलवे को गतिशील और सुरक्षित बनाए रखने वाले ट्रैकमैन भाइयों के लिए सिस्टम में ‘न कोई प्रमोशन है, न ही इमोशन’। भारतीय रेल कर्मचारियों में ट्रैकमैन सबसे ज्यादा उपेक्षित हैं, उनसे मिल कर उनकी समस्याओं और चुनौतियों को समझने का मौका मिला।
राहुल गांधी ने इस संबंध में कहा कि ट्रैकमैन 35 किलो औजार उठाकर रोज 8-10 किमी पैदल चलते हैं। उनकी नौकरी ट्रैक पर ही शुरू होती है और वो ट्रैक से ही रिटायर हो जाते हैं। जिस विभागीय परीक्षा को पास कर दूसरे कर्मचारी बेहतर पदों पर जाते हैं, उस परीक्षा में ट्रैकमैन को बैठने भी नहीं दिया जाता।
ट्रैकमैन भाइयों ने बताया कि हर साल करीब 550 ट्रैकमैन काम के दौरान दुर्घटना का शिकार होकर जान गंवा देते हैं, क्योंकि उनकी सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं हैं। विपरीत परिस्थितियों में बिना बुनियादी सुविधाओं के दिन-रात कड़ी मेहनत करने वाले ट्रैकमैन भाइयों की इन प्रमुख मांगों को हर हाल में सुना जाना चाहिए।
राहुल गांधी ने की है ये मांग
1. काम के दौरान हर ट्रैकमैन को ‘रक्षक यंत्र’ मिले, जिससे ट्रैक पर ट्रेन आने की सूचना उन्हें समय से मिल सके।
2. ट्रैकमैन को विभागीय परीक्षा (LDCE) के जरिए तरक्की का अवसर मिले।
ट्रैकमैन की तपस्या से ही करोड़ों देशवासियों की सुरक्षित रेल यात्रा पूरी होती है, हमें उनकी सुरक्षा और तरक्की दोनो सुनिश्चित करनी ही होगी।
PC: jansatta
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