दो मोर्चों पर युद्ध की स्थिति टालने के लिए सभी क्षेत्रों में प्रयास होंगे: Major General Pandey

varsha | Wednesday, 26 Apr 2023 01:37:48 PM
Efforts will be made in all fields to avoid a situation of war on two fronts: Major General Pandey

नयी दिल्ली। सेना प्रमुख जनरल मनोज पांडे का कहना है कि दो मोर्चों पर युद्ध की स्थिति से बचने के लिए सभी क्षेत्रों में प्रयास किए जाएंगे, लेकिन ऐसी स्थिति के लिए सुरक्षा बल को तैयार रहने की जरूरत है। उन्होंने रूस-यूक्रेन संघर्ष के संदर्भ में कहा कि सामरिक क्षेत्र, परिचालन स्तर पर और सामरिक स्तर पर भी यह ''हमारे लिए बड़ा सबक’’ हैं।

यहां मंगलवार को एक समाचार चैनल द्बारा आयोजित कार्यक्रम के दौरान हुए संवाद सत्र में ''दो मोर्चों पर युद्ध की स्थिति’’ के बारे में पूछे जाने पर जनरल पांडे ने कहा, ''दो मोर्चों की स्थिति से बचने के लिए सभी क्षेत्रों में प्रयास किये जाएंगे, लेकिन मेरा मानना है कि हमें अब भी तैयार रहने की जरूरत है कि ऐसी स्थिति उत्पन्न होने पर आप अपने संसाधनों को कैसे प्रयोग में लाएंगे और उनका उपयोग कैसे करते हैं।’’

उन्होंने कहा, ''वर्तमान में हम इसी संदर्भ में देख रहे हैं और हमारे पास योजनाएं हैं जो इस बात पर निर्भर करती हैं कि प्राथमिक मोर्चा और द्बितीयक मोर्चा क्या है।’’
मेजर जनरल पांडे ने कहा, ''यह विभिन्न कारकों से जुड़ा कार्य है और अपनी तैयारियों के स्तर के संदर्भ में कहें तो हम दो मोर्चों पर युद्ध लड़ने की दिशा में तैयारी करते रहेंगे।’’ कई विशेषज्ञ भारत की उत्तरी और पश्चिमी सीमाओं के संदर्भ में दो-मोर्चे शब्द का उपयोग करते हैं।

रूस-यूक्रेन संघर्ष पर उन्होंने कहा कि रणनीतिक स्तर पर एक महत्वपूर्ण सबक यह है कि इसने ''कठोर शक्ति की प्रासंगिकता की फिर से पुष्टि की है’’। जनरल पांडे ने कहा, ''इसने दिखाया है कि जहां राष्ट्रीय हित शामिल हैं, देश युद्ध में जाने से नहीं हिचकिचाएंगे। दूसरे, भूमि हमेशा युद्ध का एक निर्णायक क्षेत्र बनी रहेगी, विशेष रूप से जहां विवादित सीमाएं हैं। ठीक वैसे ही जैसे हमारे मामले में धारणा है कि जीत हमेशा भूमि केंद्रित रहेगी।’’

सैन्य बलों में भर्ती की अग्निपथ योजना पर उन्होंने कहा कि यह एक ''परिवर्तनकारी सुधार’’ है, जो सुरक्षा बल के मानव संसाधनों के प्रबंधन के तरीके में एक ''क्रांतिकारी बदलाव या परिवर्तन’’ लाएगा और इस योजना के लाभ कई गुना अधिक हैं। उन्होंने कहा कि यह हमें भारतीय सेना से अधिक संख्या में युवाओं को जोड़ने में मदद करेगी, अधिक संख्या में तकनीकी रूप से निपुण युवा सेना में शामिल होंगे। जनरल पांडे ने कहा, ''हमारे पास एक 'फिट सेना’ होगी और लड़ाकू अग्रिम मोर्चे की इकाइयों में सैनिकों की उपलब्धता बढ़ेगी।’’

उन्होंने कहा, ''हम आश्वस्त हैं कि चार साल के अंत में जब हम वास्तव में नतीजे देखना शुरू करेंगे तो यह न केवल सेना के लिए बल्कि समाज और देश के लिए भी अच्छी स्थिति होगी।’’ सेना द्बारा आगे बढ़ते हुए उठाए गए अहम कदमों पर जनरल पांडे ने कहा कि वर्ष 2०23 को सुरक्षा बल ने परिवर्तन का वर्ष घोषित किया है।
उन्होंने कहा ''हम कई अहम कदम उठाए हैं ताकि हम अधिक आधुनिक, आत्मनिर्भर, प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में आगे और अधिक बेहतर बन सकें, आने वाली चुनौतियों से कारगर तरीके से निपट सकें।’’ 



 


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