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pC: asianetnews
महाभारत में बहुत से ऐसे पात्र है जिनके बारे में ज्यादा लोगों को जानकारी नहीं है और दुर्योधन की पुत्री लक्ष्मणा भी इनमें से एक है। आपको जानकारी नहीं होगी कि लक्ष्मणा का विवाह श्रीकृष्ण के पुत्र सांब से हुआ था। आइए जानते हैं कि ऐसा कब हुआ।
दुर्योधन की अनेक पत्नियां में से एक भानुमती से उन्हें 2 संतान हुई एक पुत्र और दूसरी पुत्री। दुर्योधन ने पुत्र का नाम लक्ष्मण और पुत्री का नाम लक्ष्मणा रखा। लक्ष्मणा के विवाह योग्य होने पर दुर्योधन ने उसका स्वयंवर रचाया। इस स्वयंवर में दुर्योधन ने कई राजाओं को बुलाया लेकिन द्वारिका से किसी को आमंत्रित नहीं किया।
श्रीकृष्ण का पुत्र सांब दुर्योधन की पुत्री लक्ष्मणा को पसंद करता था। जब उसे पता चला कि दुर्योधन ने लक्ष्मणा का स्वयंवर रचाया है तो वह बिना बुलाए हस्तिनापुर गया और कौरवों से युद्ध कर लक्ष्मणा का हरण कर लिया।
जब सांब लक्ष्मणा को हरण करके द्वारिका ले जा रहा था तो उसे उसके पथ में ही दुर्योधन के सैनिकों मिल गए। उन्होंने उसे बंदी बनाया और हस्तिनापुर ले गए। जब ये बात श्रीकृष्ण को पता चली तो वे स्वयं हस्तिनापुर आना चाहते थे लेकिन बलराम ने उन्हें मना कर दिया और कहा कि दुर्योधन उनका शिष्य है, वे इस मामले को आसानी से सुलझा लेंगे। इस तरह बलराम हस्तिनापुर चले गए।
जब बलराम हस्तिनापुर गए तो उन्हें लगा कि दुर्योधन उनका शिष्य है इसलिए वह उनकी बात समझ जाएगा लेकिन ऐसा नहीं हुआ। इसके उलट कौरवों ने बलराम को खूब भला-बुरा कहा और उनका अपमान भी किया। कौरवों की ये हरकत देख बलराम को बेहद क्रोध आया।
क्रोध में आकर बलराम ने हस्तिनापुर को अपने हल से धरती से उखाड़ दिया और गंगा नदी की ओर खींचने लगे। ये देख सभी कौरव डर गए। तब उन्होंने बलराम से क्षमा मांगी और लक्ष्मणा व सांब को भी मुक्त कर दिया। इसी के बाद श्रीकृष्ण के पुत्र सांब का विवाह दुर्योधन की पुत्री लक्ष्मणा के साथ हुआ।
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