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सहकारी बैंक लाइसेंस: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की ओर से नियमों का पालन नहीं करने वाले बैंकों के खिलाफ लगातार सख्त कदम उठाए जा रहे हैं।
पिछले दिनों एचडीएफसी और एचएसबीसी बैंक पर जुर्माना लगाने के बाद अब आरबीआई ने महाराष्ट्र और कर्नाटक में संचालित दो सहकारी बैंकों के लाइसेंस रद्द कर दिए हैं। साथ ही दोनों बैंकों को 5 जुलाई 2023 को लाइसेंस रद्द होने के बाद किसी भी तरह का बैंकिंग कारोबार नहीं करने को कहा गया है.
किसी भी प्रकार की जमा राशि स्वीकार नहीं कर सकेंगे
आरबीआई की ओर से बताया गया कि बुलढाणा स्थित मलकापुर अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड और बेंगलुरु स्थित सुश्रुति सौहार्द सहकार बैंक रेगुलर (शुश्रुति सौहार्द सहकार बैंक नियमिता) के बैंकिंग लाइसेंस रद्द कर दिए गए हैं। बयान के मुताबिक कारोबार बंद होने के बाद दोनों बैंक किसी भी तरह का डिपॉजिट स्वीकार नहीं कर पाएंगे और न ही ग्राहकों को डिपॉजिट दे पाएंगे.
पैसा जमा करने वालों का क्या होगा?
दोनों सहकारी बैंकों के पास पर्याप्त पूंजी और कमाई की क्षमता की कमी को देखते हुए केंद्रीय बैंक ने यह कदम उठाया है. रिज़र्व बैंक ने महाराष्ट्र के सहकारी आयुक्त और सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार को बैंक को बंद करने और बैंक के लिए एक परिसमापक नियुक्त करने का आदेश जारी करने के लिए कहा है। रिजर्व बैंक ने कहा कि प्रत्येक जमाकर्ता जमा बीमा और क्रेडिट गारंटी निगम (डीआईसीजीसी) से पांच लाख रुपये की सीमा तक अपनी जमा राशि की जमा बीमा दावा राशि प्राप्त करने का हकदार होगा।
बैंक द्वारा प्रस्तुत आंकड़ों के अनुसार, 97.60% जमाकर्ता DICGC से अपनी जमा राशि की पूरी राशि प्राप्त करने के हकदार हैं। आरबीआई ने कहा कि अगर मलकापुर अर्बन कोऑपरेटिव बैंक को बैंकिंग कारोबार करने की अनुमति दी गई तो इससे सार्वजनिक हित प्रभावित होगा। मौजूदा वित्तीय स्थिति में आने वाले समय में बैंक अपने जमाकर्ताओं को पूरा भुगतान करने में असमर्थ होगा।
(pc rightsofemployees)