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वर्तमान में अमेरिकी डॉलर अंतरराष्ट्रीय वित्तीय लेन-देन के लिए सबसे अधिक स्वीकृत मुद्रा है। हालांकि, कुछ अमेरिकी नीतियों के कारण BRICS देशों ने अपनी खुद की मुद्रा लागू करने के लिए गंभीर प्रयास शुरू कर दिए हैं। संभावना है कि BRICS मुद्रा पर फैसला रूस में होने वाली BRICS देशों की बैठक में लिया जाएगा। BRICS समूह में मुख्य रूप से ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका शामिल हैं। इसके अलावा कुछ अन्य देश भी इस समूह का हिस्सा हैं, जिनमें मिस्र, इथियोपिया, ईरान, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात शामिल हैं। अब ये सभी देश मिलकर एक नई मुद्रा पर विचार कर रहे हैं। यह मुद्दा 22 से 24 अक्टूबर तक रूस के कज़ान में होने वाले BRICS शिखर सम्मेलन में चर्चा के लिए उठाया जा सकता है। अगर इस नई BRICS मुद्रा पर सहमति बन जाती है, तो इसके सदस्य देश आपस में आर्थिक लेन-देन अमेरिकी डॉलर के बजाय इस नई BRICS मुद्रा में करेंगे। अगर BRICS देश डॉलर की जगह BRICS मुद्रा में वित्तीय लेन-देन करते हैं, तो यह अमेरिका और अमेरिकी मुद्रा के लिए एक बड़ा झटका साबित होगा।
वर्तमान अंतरराष्ट्रीय वित्तीय प्रणाली पर अमेरिकी डॉलर का प्रभुत्व है। वैश्विक व्यापार में अमेरिकी डॉलर की हिस्सेदारी लगभग 90 प्रतिशत है और लगभग 100 प्रतिशत तेल का व्यापार अमेरिकी डॉलर में होता है। चीन, भारत और रूस भी अमेरिका के खिलाफ इस अभियान का समर्थन कर सकते हैं, जिसका सबसे बड़ा कारण है अमेरिका का चीन के साथ व्यापार युद्ध। अगर BRICS समूह एक नई मुद्रा लॉन्च करता है, तो इसका अमेरिकी डॉलर पर गहरा प्रभाव पड़ेगा। इसका असर अमेरिका और वैश्विक अर्थव्यवस्था पर भी देखने को मिलेगा। हालांकि अभी यह कहना जल्दबाजी होगी कि BRICS मुद्रा कब लागू होगी, लेकिन BRICS मुद्रा की संभावनाओं और इसके निवेशकों पर प्रभावों को समझने का यह सही समय है।
BRICS देश नई मुद्रा क्यों बनाना चाहते हैं?
BRICS देशों के बीच नई मुद्रा स्थापित करने की कई वजहें हैं। हालिया वैश्विक वित्तीय चुनौतियों और आक्रामक अमेरिकी विदेश नीतियों ने BRICS देशों को नई मुद्रा तलाशने और आपसी आर्थिक लेन-देन के लिए अमेरिकी डॉलर और यूरो पर निर्भरता कम करने की ओर प्रेरित किया है। BRICS देश अपनी आर्थिक हितों को बेहतर तरीके से साधना चाहते हैं।
BRICS मुद्रा की घोषणा कब होगी?
फिलहाल BRICS मुद्रा की कोई आधिकारिक तारीख या पुष्टि नहीं हुई है, लेकिन BRICS के नेताओं ने इस नई मुद्रा की संभावना पर विस्तार से चर्चा की है। 2022 के मध्य में आयोजित 14वें BRICS शिखर सम्मेलन के दौरान, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा कि BRICS देश एक नई वैश्विक रिजर्व मुद्रा की घोषणा करने की योजना बना रहे हैं।
अप्रैल 2023 में, ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज़ इनासियो लूला दा सिल्वा ने भी BRICS मुद्रा का समर्थन करते हुए कहा था, "ऐसा क्यों नहीं हो सकता कि BRICS बैंक जैसी संस्था के पास एक मुद्रा हो, जो ब्राजील और चीन के बीच व्यापारिक संबंधों के साथ-साथ अन्य BRICS देशों के बीच भी आर्थिक लेन-देन को वित्तपोषित कर सके?"
PC - NPR