कोचिंग संस्थानों पर कसा शिकंजा: भ्रामक विज्ञापनों पर ₹50 लाख तक का जुर्माना, लाइसेंस भी होगा रद्द

Trainee | Tuesday, 03 Dec 2024 11:04:20 AM
Crackdown on coaching institutes: Fine up to ₹50 lakh on misleading advertisements, license may also be cancelled

केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (CCPA) ने कोचिंग संस्थानों के भ्रामक विज्ञापनों पर रोक लगाने के लिए सख्त गाइडलाइंस जारी की हैं। अब कोचिंग संस्थानों को पारदर्शिता बनाए रखने, झूठे दावे न करने और छात्रों की गोपनीयता का सम्मान करने के लिए बाध्य किया गया है। नियमों का उल्लंघन करने पर ₹50 लाख तक का जुर्माना और लाइसेंस रद्द करने का प्रावधान है।

मुख्य गाइडलाइंस:

  1. पारदर्शी विज्ञापन अनिवार्य:

    • पाठ्यक्रम, फीस, और सफलता दर के दावों में पारदर्शिता होनी चाहिए।
    • फर्जी सफलता दर या पाठ्यक्रम की अधूरी जानकारी देना अपराध माना जाएगा।
  2. झूठे दावों पर रोक:

    • पाठ्यक्रम की अवधि, फीस, और अन्य सुविधाओं के बारे में झूठे दावे करना प्रतिबंधित होगा।
    • फर्जी अर्जेंसी (जैसे "सीटें भरने वाली हैं") वाले विज्ञापन अब अवैध माने जाएंगे।
  3. छात्रों की सहमति अनिवार्य:

    • विज्ञापनों में सफल छात्रों की तस्वीर या व्यक्तिगत जानकारी के उपयोग के लिए लिखित अनुमति आवश्यक होगी।
  4. स्पष्ट डिस्क्लेमर:

    • विज्ञापनों में पहले स्लाइड पर डिस्क्लेमर स्पष्ट रूप से दिखाना अनिवार्य है।
  5. सेफ्टी और इन्फ्रास्ट्रक्चर:

    • संस्थानों को सुरक्षा उपाय, इमरजेंसी एग्जिट प्लान और सुविधाओं के बारे में जानकारी देनी होगी।
  6. कंज्यूमर शिकायत समाधान प्रणाली:

    • कोचिंग संस्थानों को शिकायत निवारण के लिए एक प्रभावी प्रणाली बनानी होगी।

उल्लंघन पर संभावित दंड:

  • पहली बार नियम तोड़ने पर ₹1 लाख तक का जुर्माना।
  • बार-बार उल्लंघन पर ₹50 लाख तक का जुर्माना और लाइसेंस रद्द हो सकता है।

सुरक्षा उपायों को बढ़ावा:

दिल्ली की हाल की घटनाओं को देखते हुए छात्रों की सुरक्षा के लिए आपातकालीन एग्जिट और अन्य उपायों को अनिवार्य किया गया है।



 


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