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भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने दिसंबर के पहले सप्ताह में वित्तीय संस्थानों पर सख्त कदम उठाए। दो सहकारी बैंकों पर जुर्माना लगाया गया, जबकि महाराष्ट्र की एक एनबीएफसी का रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिया गया। यह कार्रवाई वित्तीय नियमों के उल्लंघन और ग्राहकों के हितों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के उद्देश्य से की गई।
जुर्माना लगाए गए सहकारी बैंक
- पंचकूला सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड (हरियाणा)
- पटियाला सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड (पंजाब)
दोनों बैंकों पर 5 लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया। यह कार्रवाई नाबार्ड द्वारा निरीक्षण के दौरान सामने आई खामियों के कारण की गई। बैंकों ने जमाकर्ताओं के पैसे को सही तरीके से शिक्षा और जागरूकता कोष में ट्रांसफर नहीं किया था।
एनबीएफसी का रजिस्ट्रेशन रद्द
महाराष्ट्र स्थित ज़ेवरन फाइनेंस प्राइवेट लिमिटेड का रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिया गया। कंपनी 2018 से एनबीएफसी के रूप में कार्य कर रही थी, लेकिन इसके डिजिटल ऋण संचालन में कई गंभीर खामियां पाई गईं। मुख्य उल्लंघन:
- क्रेडिट मूल्यांकन और ब्याज दर तय करने में अनियमितता।
- ऋण सेवा प्रदाताओं के लिए अपर्याप्त नियंत्रण।
- ग्राहकों को स्थानीय भाषा में लोन एग्रीमेंट न देना।
आरबीआई की कार्रवाई का उद्देश्य
RBI का यह कदम वित्तीय क्षेत्र में नियमों का सख्ती से पालन सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है। यह कार्रवाई ग्राहकों के पैसे और उनके अधिकारों की सुरक्षा के प्रति RBI की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। ऐसी सख्त कार्रवाइयों से संस्थानों में पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ती है।