डिजिटल इंडिया को साकार करने के लिए सरकार ने बड़ी पहल की है। ग्रामीण इलाकों में गरीबों और अनपढ़ों के लिए ऑनलाइन ट्रांजेक्शन्स आसान बनाने के लिए ‘आधार पे’ लांच कर दिया गया है। ‘आधार पे’ में फिंगरप्रिंट के इस्तेमाल से ट्रांजेक्शन्स किए जा सकते हैं। पहले आधार से जुड़े पेमेंट सिस्टम इक्घ्ट्ट का मर्चेंट वर्जन आधार पे है। पासवर्ड और पिन से होने वाले ऑनलाइन और कार्ड ट्रांजेक्शन्स की जगह ‘आधार पे’ ले लेगा। इस एप के इस्तेमाल को और आसान बनाने की कोशिश की जा रही है।
किसी भी पेमेंट के लिए कस्टमर को अपना आधार नंबर, बैंक का नाम और फिंगरप्रिंट देना होगा। यूआईडीएआई के सीईओ एबी पांडे ने बताया कि आधार पे सभी एंड्रायड फोन पर चलता है। इसके साथ बस फिंगर बायोमेट्रिक डिवाइस जुड़ी होनी चाहिए। उन्होंने बताया कि इसके जरिए बिना कार्ड और पिन के कैशलेस पेमेंट किया जा सकता है। कस्टमर्स के पास स्मार्टफोन होने की कोई जरूरत नहीं है।
आधार पे के जरिए पेमेंट्स लेने के लिए दुकानदारों को 2000 रुपए की बायोमेट्रिक डिवाइस भी लेनी पड़ेगी। सरकार डिवाइस की कीमत को दुकानदारों से धीरे-धीरे वसूलना चाहती है, ताकि वे इसके इस्तेमाल के लिए प्रोत्साहित हों। आधार पे को लेकर उठ रहे सुरक्षा के सवालों के जवाब में ठक्रकइक्र के सीईओ ने कहा कि यह किसी और डिजिटल पेमेंट के तरीके से कई ज्यादा सुरक्षित है। उन्होंने कहा कि कस्टमर का बैंक अकाउंट और मर्चेंट का बैंक अकाउंट आधार से भलक होने के कारण इसके गलत प्रयोग की गुंजाइश कम होगी।