मुंबई। पूर्व क्रिकेटर वासुदेव परांजपे ने सचिन तेंदुलकर को उनके 44वेंं जन्मदिन पर बधाई देते हुए कहा कि उन्हें अभी भी रणजी ट्राफी में पहले मैच में इस दिग्गज बल्लेबाज का शतक याद है। तेंदुलकर ने गुजरात के खिलाफ 1988 में वह शतक बनाया था । परांजपे ने तेंदुलकर के जन्मदिन पर यहां कल रात लीजैंड्स क्लब में आयोजित समारोह में यादों का पिटारा खोला। तेंदुलकर ने पहला रणजी मैच 15 बरस की उम्र में 11 दिसंबर 1988 को खेला था। परांजपे ने कहा, मुझे अभी भी गुजरात के खिलाफ उसका पहला शतक याद है। मैच से पहले सुबह मैं उसके पास गया और मैने उससे कहा था कि आज का दिन तुम्हारा होगा ।
उन्होंने कहा, उसने बायें हाथ के स्पिनर को स्क्वेयर कट लगाकर शतक पूरा किया । हमने उसे लाइन के खिलाफ जा रही गेंद नहीं खेलने की सलाह दी थी । वह ऐसी ही गेंद थी जिस पर उन्होंने चौका जड़ा। परांजपे ने कहा कि तेंदुलकर और बाकी युवाओं के बीच फर्क यही था कि वह सात से आठ नेट पर एक दिन में अभ्यास करते थे। उन्होंने कहा, सचिन दूसरे लडक़ों से 10000 गेंद अधिक खेलता था । वह एक ही समय पर सात से आठ नेट पर अभ्यास करता था । एक नेट के बाद वह दूसरे नेट पर जाता था।