यह विश्व का एकमात्र मंदिर, जहां उल्टे स्वरूप में हैं भगवान

Samachar Jagat | Wednesday, 05 Apr 2017 12:31:44 PM
Madhya Pradesh in temple Hanuman image in reverse form

इंटरनेट डेस्क। मंदिरों में आपने देवी-देवताओं की प्रतिमा खड़े या बैठे स्वरूप में जरूर देखी होगी, लेकिन कभी आपने उल्टी खड़े भगवान की प्रतिमा देखी हैं। नहीं ना, पर यह सच हैं। मध्यप्रदेश के इंदौर में एक मंदिर में हनुमान जी की ऐसी प्रतिमा हैं जो उल्टी हैं। यह मंदिर इंदौर से 25 किलोमीटर दूर उज्जैन रोड सांवेर में स्थित है।

यह विश्व का एकमात्र मंदिर है, जिसमें रामभक्त हनुमान की प्रतिमा उल्टे स्वरूप में है। और इसी उल्टे स्वरूप में उनकी पूजा होती है। उल्टे हनुमान की यह प्रतिमा पाताल विजय हनुमान के नाम से प्रसिद्ध है।

सदियों पुराना है मंदिर
खबर के मुताबिक, मंदिर के पुजारी का कहना है कि यह मंदिर सैकड़ों साल पुराना है। इस मंदिर की पूजा अर्चना उनके परिवार की 12वीं पीढ़ी कर रही हैं। 

युद्ध के दौरान पाताल गए थे पवन पुत्र
इस उल्टे हनुमान मंदिर के साथ त्रेतायुग की एक कहानी जुड़ी हुई है। रामचरित मानस में इस बात का जिक्र किया गया है कि भगवान राम और रावण के युद्ध के दौरान अहिरावण वानर का रूप धरकर रामजी की सेना में शामिल हो गया था।

रात में वह अपनी जादुई शक्ति से सबको मूर्छित कर राम एवं लक्ष्मण का अपहरण कर उन्हें पाताल लोक ले गया था। तब विभीषण के कहने पर हनुमान जी भगवान राम व लक्ष्मण की खोज में पाताल लोक गए थे और अहिरावण का वध कर राम और लक्ष्मण को पाताल लोक से लेकर आए थे।

मंदिर के पुजारी का कहना है कि ऐसी मान्यता है कि इसी जगह से हनुमान जी पाताललोक गए थे। इसी कारण यहां हनुमान जी का सिर उल्टा है, जिस कारण यहां उनके उल्टे रूप की पूजा की जाती है।

दूर-दूर से आते हैं लोग
श्रद्धा और आस्था के कारण इस मंदिर में दूर-दूर से लोग आते हैं। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने व्यक्तिगत रूचि लेकर इस मंदिर का जीर्णोद्धार करवाया है। 



 

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