चंडीगढ़। पंजाब में शराब की खपत में कमी लाने के अपने चुनावी वादे को पूरा करने की दिशा में अमरिंदर सिंह सरकार ने राज्य में 450 से ज्यादा शराब की दुकानों को बंद करने का आज निर्णय लिया।
सरकार ने 2017-18 के लिए अपनी नयी आबकारी नीति के तहत शराब कोटा में कमी लाने और राष्ट्रीय तथा राज्य राजमार्ग के 500 मीटर के दायरे में शराब की बिक्री पर प्रतिबंध लगाने की भी घोषणा की। मुख्यमंत्री कार्यालय के एक प्रवक्ता ने कहा कि राज्य में शराब की 6,384 दुकानें हैं और इनकी संख्या कम करके 5900 पर लाया जाएगा।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह के नेतृत्व में नव निर्वाचित पंजाब सरकार की पहली मंत्रिमंडल की बैठक में यह निर्णय लिया गया।
कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणापत्र में वादा किया था कि वह ‘‘पंजाब में शराब की खपत में कमी लाएगी और पांच साल में इसकी बिक्री में कमी लायी जाएगी, हर साल शराब की पांच फीसदी दुकान बंद किये जाएंगे।’’प्रवक्ता ने कहा कि नयी राज्य सरकार ने 20 प्रतिशत तक शराब के कोटा में कमी लाने की भी घोषणा की।
उन्होंने कहा कि सरकार ने एल-1 श्रेणी के लिए ‘‘विवादित’’ थोक बिक्री लाइसेंस भी खत्म कर दिया। गत वर्ष एल-1ए श्रेणी के लिए थोक बिक्री लाइसेंस जारी करने के बाद पूर्ववर्ती शिअद-भाजपा गठबंधन सरकार की तीखी आलोचना की गयी थी। शराब के कारोबार में शामिल कई लोगों ने आरोप लगाया था कि इस श्रेणी में कुछ समूहों को लाभ पहुंचाने के लिए यह कदम उठाया गया। यह भी आरोप लगाया जाता है कि राज्य में शराब की बिक्री पर एकाधिकार के लिए यह लाइसेंस शुरू किया गया। -(एजेंसी)