आयुर्विज्ञान और सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी के एकीकरण से स्वास्थ्य सेवाओंं की चुनौतियां हो सकती हैं दूर प्रणब

Samachar Jagat | Sunday, 13 Nov 2016 12:53:40 AM
Medical and health information and communication technology integration challenges can be overcome Sewaonn Pranab

नई दिल्ली। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने आज भारत के ग्रामीण और सुदूर क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाओं की आपूर्ति की चुनौतियों से निबटने के लिए आयुर्विज्ञान के साथ सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी के एकीकरण का आह्वान किया। 
उन्होंने यहां इंटरनेशनल कोरोनरी कांग्रेस का उद्घाटन करते हुए कहा, ‘‘सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी का आयुर्विज्ञान के साथ एकीकरण करने पर ग्रामीण और सुदूर क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं की आपूर्ति की चुनौतियों से निबटने की व्यापक संभावनाएं हैं। प्रौद्योगिकी के एकीकरण से स्वास्थ्य क्षेत्र में शिक्षा, प्रशिक्षण और प्रबंधन में भी सहायता मिल सकती है। ’’
मुखर्जी ने कहा, ‘‘स्वास्थ्य सुविधाओं में प्रौद्योगिकी उपयोग का दायरा व्यापक है। किसी मरीज की मेडिकल समस्या पर टेलीफोन पर सामान्य चर्चा से लेकर एक जटिल मंच, जहां नैदानिक परीक्षण ओर विशेषज्ञों के साथ परामर्श किया जाता है, तक आईटी आधारित हल इलाज में भौतिक दूरी को दूर करने में एक उम्मीद की किरण है। ’’
इंटरनेशनल कोरोनरी कांग्रेस हृदय रोग प्रबंधन पर अपने तरह का पहला आयोजन है जहां दुनियाभर के जाने-माने हृदयविशेषज्ञ शिरकत कर रहे हैं। इस आयोजन मेदांता द मेडिसिटी ने किया है।
उन्होंने कहा कि टेली कार्डियोलोजी ने सुदूर क्षेत्रों के मरीजों को समय से विशेषज्ञ रिपोर्ट पाने में मदद पहुंचायी है जिससे सही जांच और उचित इलाज हो पाया। उन्होंने इस फोरम से इसकी व्यवहारिकता पर चर्चा करने की अपील की। 



 

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