नई दिल्ली। नोटबंदी के विरोध में तृणमूल कांग्रेस के लोकसभा सदस्य इदरीस अली आज एक ऐसा कुर्ता पहन कर संसद भवन परिसर में आए जिसके कारण वह लोगों के आकर्षण का केन्द्र बन गए। अली के सूती कुर्ताें का अगला हिस्सा केसरिया रंग का जबकि पिछला हिस्सा हरे रंग का था। दोनों बाहों का रंग सफेद था और कलाइयों तथा कॉलर पर तिरंगी पट्टी बनी हुई थी । कुर्ते के आगे के हिस्से के एक ओर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री एवं तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी की तीन तस्वीरें छपी हुई थी जबकि दूसरे हिस्से पर तृणमूल का प्रमुख नारा ‘मां,माटी और मानुष’ बंगला भा में छपा हुआ था।
पश्चिम बंगाल के बशीरहाट से सांसद अली से जब यह पूछा गया कि वह ऐसी ड्रेस पहनकर वह क्यों आए हैं तो उनका कहना था कि नोटबंदी के कारण गरीब लोगों को हो रही परेशानियों को उजागर करने के लिए उन्होंने ऐसा किया है।
उन्होंने सवाल किया कि जब लोग स्वामी विवेकानन्द और जे जयललिता की तस्वीर लगे वस्त्र पहन कर आते हैं तो कोई उनसे क्यों नहीं पूछता । अली ने कहा कि पश्चिम बंगाल के लोगों ने नोटबंदी पर बनर्जी के रुख का भारी समर्थन किया है और यह कोलकाता में हुए विरोध प्रदर्शन के दौरान भी देखा गया। उन्होंने कहा कि गरीब और बीमार लोग रूपए के लिए बैंकों में लम्बी लम्बी लाइनों में लगते हैं और रूपए मिलने से पहले ही उनकी मौत हो जाती है।
रुपये लेने के लिए लाइन में लगने के दौरान अब तक 82 लोगों की मौत हो गयी है। उल्लेखनीय है कि बनर्जी नोटबंदी को वापस लेने की मांग कर रही हैं और अपनी मांग के समर्थन में उन्होंने दिल्ली तथा लखनऊ में भी जनसभाएं की हैं।
पेशे से वकील अली ने कहा कि रूपए नहीं मिलने से गरीब , मजदूर, किसान, छोटे व्यवसायी तथा समाज के अन्य वर्गों के लोग बुरी तरह प्रभावित हैं। शादी वाले परिवारों तथा बीमार लोगों के लिये नई-नई समस्याएं आ रही हैं और सरकार की ओर से हर दिन कहा जा रहा है कि स्थिति सुधर रही है जबकि सच्चाई यह है कि स्थिति और बदतर हो रही है ।