पिछले वर्ष पुलिस कार्रवाई में मारे गए आतंकी बुरहान वानी की मौत के बाद से जम्मू-कश्मीर में उग्रवादी संगठनों से जुड़ने वाले नौजवानों की तादाद में तेजी से बढ़ोत्तरी हुई है।
वर्ष 2010 के बाद घाटी में सबसे ज्यादा युवा साल 2016 में उग्रवादी बने। ये आंकड़ा केंद्र सरकार ने 21 मार्च को लोक सभा में पेश किया।
गौरतलब है कि आठ जुलाई 2016 को पुलिस के साथ हुई मुठभेड़ में बुरहान वानी की मौत हो गई थी। उसकी मौत के बाद घाटी में कई हिंसक प्रदर्शन हुए थे जिसमें 90 से ज्यादा लोग मारे गए थे।
सदन में पेश किये गए आंकड़ों के मुताबिक साल 2016 में घाटी में 88 युवा उग्रवादी संगठनों में शामिल हुए थे। साल 2010 की तुलना में ये आंकड़ा करीब 55 प्रतिशत अधिक है। साल 2014 और 2015 में आतंकी सगंठनों से जुड़ने वाले युवाओं की संख्या में गिरावट दर्ज की गई थी। लेकिन बुरहान वानी की मौत के बाद हुए हिंसक प्रदर्शनों के बाद युवा तेजी से आतंकी संगठनों के साथ जुड़े।
इस मामले में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री हंसरास गंगाराम अहीर ने संसद में यह जानकारी देते हुए कहा कि साल 2015 में 66, 2014 में 53, 2013 में 16, 2012 में 12, 2011 में 23 और 2010 में 54 युवक उग्रवादी बने थे।