काठमांडू। नेपाल में आंदोलनरत मधेसी समूह ने प्रधानमंत्री प्रचंड को आज अंतिम चेतावनी दी कि अगर एक सप्ताह के भीतर उनकी मांगों पर ध्यान नहीं दिया गया तो वे सरकार से समर्थन वापस ले लेंगे। यूनाइटेड डेमोक्रेटिक मधेसी फ्रंटयूडीएमएफ ने कल बालुवाटर में प्रधानमंत्री के आवास पर एक बैठक के दौरान प्रचंड को पांच सूत्री ज्ञापन सौंपा।
ज्ञापन में मधेसी नेताओं ने स्थानीय चुनाव कार्यक्रम को वापस लेने, संसद में संविधान के संशोधित विधेयक पर चर्चा करने और सप्तरी में पुलिस गोलीबारी की जांच कराने की मांग की।
साथ ही उन्होंने गोलीबारी की घटना में दोषी पाए जाने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग भी की। मधेसी नेताओं ने सरकार से कहा कि इस घटना में मारे गए लोगों को ‘शहीद’ घोषित किया जाए और उनके परिजनों के लिए बकाया मुआवजे की मांग की।
बैठक के बाद यूडीएमएफ द्वारा जारी किए गए बयान के अनुसार फ्रंट ने चेतावनी दी कि अगर एक सप्ताह के भीतर उनकी मांगों पर ध्यान नहीं दिया गया तो वे सरकार से समर्थन वापस ले लेंगे।
इस बीच सप्तरी में पुलिस गोलीबारी में मारे गए लोगों की संख्या बढक़र चार पर पहुंच गई है। मधेसी फ्रंट की दो दिवसीय हड़ताल से लगातार दूसरे दिन नेपाल के दक्षिणी इलाके के 20 जिलों में जनजीवन बाधित रहा।
मधेसियों ने संविधान के लागू होने के खिलाफ छह महीने लम्बा आंदोलन चलाया था। वे और अधिक प्रतिनिधित्व और राज्य की सीमाओं का फिर से सीमांकन किए गए की मांग को लेकर संविधान के प्रावधानों में संशोधन की मांग कर रहे हैं।