काहिरा। मिस्र की एक अदालत ने अपदस्थ राष्ट्रपति मुहम्मद मुरसी और मुस्लिम ब्रदरहुड के शीर्ष नेता मोहम्मद बदी को सुनाई गई मौत की सजा को आज निरस्त कर दिया और देश में 2011 में हुए विद्रोह के दौरान जेल से लोगों के सामूहिक रूप से भागने के सिलसिले में फिर से मुकदमे का आदेश दिया।
कासेशन की अदालत ने इसी मामले में 21 अन्य की उम्रकैद की सजा को भी निरस्त कर दिया।
बदी समेत पांच लोगों पर भी फिर से मुकदमा चलेगा। बदी को जून 2015 में मौत की सजा सुनाई गई थी।
मुरसी और ब्रदरहुड के दूसरे नेताओं को वदी अल-नातरोन जेल से भागने के मामले में जून 2015 में मौत की सजा सुनाई गई थी।