चित्तौड़गढ़। राजस्थान में अफीम की खेती करने वाले किसानों को जल्द ही एक खुशखबरी मिल सकती है। जाकनारी के अनुसार राजस्थान राज्य सहित मध्यप्रदेश के अफीम काश्तकारों को आने वाले समय में केंद्र सरकार की ओर से अफीम काश्त का अलग से बीमा करवाने की खुशखबरी मिल सकती है।
सांसद चंद्रप्रकाश जोशी ने सोमवार को यहां जिला परिषद की बैठक में हाल ही में हुए मौसम परिवर्तन से हुए आंशिक अफीम खराबे का सर्वे करवाने एवं मुआवजा दिलवाने की मांग की। इस दौरान सांसद चंद्रप्रकाश जोशी ने जनप्रतिनिधियों को बताया कि अफीम की काश्त कृषि विभाग नहीं बल्कि भारत सरकार के वित्त मंत्रालय के अंतर्गत आती है और जब मौसम की मार से फसल नष्ट होती है तो खराब फसल का ना तो राज्य सरकार का कृषि विभाग या राजस्व विभाग सर्वे करवा सकता है और ना ही उन किसानों को प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का लाभ मिल पाता है।
ऐसे में उन्होंने हाल ही केंद्र सरकार को अफीम फसल का अलग से बीमा करवाने का प्रस्ताव दिया है जिसे वित्त मंत्रालय ने सैद्धान्तिक रूप से स्वीकार कर लिया है। उन्हें उम्मीद है कि जल्द ही इस पर केंद्र सरकार निर्णय लेगी जिसके बाद अफीम फसल का अलग से बीमा हो जाएगा और खराबा होने की दशा में फसल हंकवाने के बाद मुआवजा मिल जाएगा।
उन्होंने बताया कि अभी तक खराबा होने पर अपना पट्टा बचाने के लिए काश्तकार को नारकोटिक्स विभाग की देखरेख में फसल को हंकवाना पड़ता था जिसका उसे ना तो केंद्र सरकार से और ना ही राज्य सरकार से कोई मुआवजा मिल पाता था और इस महंगी फसल के बर्बाद होने से किसान आर्थिक रूप से टूट जाता था।
वार्ता