नई दिल्ली। उपराष्ट्रपति मोहम्मद हामिद अंसारी ने शनिवार को कहा कि आईटी कंपनियों को ज्यादा नवाचारी होने की जरूरत है क्योंकि भविष्य में विकास उन्हीं का होगा , जो भविष्योन्मुखी कारोबारी माहौल पैदा करने में सफल होंगी और डिजिटल क्षेत्र में बदलावों से संतुलन बैठाने के बजाय इसकी कारक बनेंगी।
अंसारी ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के नोएडा में आईटी कंपनियों के शीर्ष संगठन नासकॉम के नए परिसर के उद्घाटन के मौके पर यह बात कही। उन्होंने कहा कि नोएडा नए प्रौद्योगिकी केंद्र के रूप में विकसित हो रहा है। उपराष्ट्रपति ने कहा कि पिछले 25 साल में एक ब्रांड के रूप भारत की छवि सुधार कर इसने देश के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
इसने रोजगार के नए अवसर सृजित किये हैं, सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के विकास में योगदान दिया है, प्रौद्योगिकी शिक्षा की राह तैयार की है तथा ई-गवर्नेंस में योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि फिलहाल इस क्षेत्र के विकास का परि²श्य काफी अच्छा है लेकिन क्षेत्र में हो रहे बदलावों की वजह से आने वाले समय में उसे चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा।
चुनौतियों में क्लाउड कंप्यूभटग की तरफ क्षेत्र का रुख, सर्विस मॉडल के रूप में सॉफ्टवेयर का उभरना, नये उत्पाद बनाने की जरूरत, डिजिटल बदलाव तथा सॉफ्टवेयर ऑटोमेशन के कारण मानव संसाधन की जरूरत कम रह जाना शामिल है।
उन्होंने कहा कि यह संभव है कि मौजूदा और भविष्य में बनने वाले क्लाइंट सॉफ्टवेयर साझेदार की जगह नवाचार साझेदार ढूँढें। उपराष्ट्रपति ने आईटी क्षेत्र को भरोसा दिलाया कि सरकार देश में नवाचार के अनुकूल वातावरण तैयार करने के लिए संजीदा है। उन्होंने कहा कि नासकॉम को भी नवाचार में प्रौद्योगिकी कंपनियों की मदद करनी चाहिए।