नई दिल्ली। राष्टपति प्रणब मुखर्जी ने कहा कि भारत ने अपनी औद्योगिक प्रगति में बड़ी भूमिका निभाने वाले मानव संसाधन विकास पर ध्यान केंति किया है और अब वह इस विशेषज्ञता को अफ्रीकी देशों के साथ साझा कर रहा है।
उन्होंने कहा कि विकास की प्रक्रिया में सबसे महत्वपूर्ण कारक मानव संसाधन है। वे यहां भारत-अफ्रीका प्रोजेक्ट पाटर्नरशिप पर सीआईआई-एक्जिम बैंक कनक्लेव को संबोधित कर रहे थे। राष्ट्रपति ने कहा कि भारत ने मानव संसाधन विकास पर जोर दिया और इसने देश में विकास व बड़े औद्योगिक विस्तार में योगदान किया।
उन्होंने कहा, ‘मानव संसाधन व मानव क्षमताओं के विकास के लिए ... हम अपनी विशेषज्ञता को आगे बांटना चाहते हैं... हम विभिन्न प्रकार की छात्रवृति व प्रौद्योगिकी प्रशिक्षणों का नेटवर्क उपलब्ध करा रहे हैं।’ राष्ट्रपति ने कहा कि भारत ने विभिन्न अफ्रीकी देशों में विद्यार्थियों के लिए 50,000 छात्रवृत्ति उपलब्ध कराई हैं।
उन्होंने कहा, ‘6000 लोगों को पहले ही उचित प्रशिक्षण दिया जा चुका है। हमारे आईटी व अन्य संस्थानों में और अधिक नियोजन की मांग है और हम अपनी क्षमता बढा रहे हैं।’ मेट्रो का उदाहरण देते हुए मुखर्जी ने कहा कि भारत ने 2009 से 2017 के दौरान सैकड़ों किलोमीटर लंबी मेट्रो रेल बिछाई है और इसमें दैनिक यात्रियों की संख्या 10 लाख से बढक़र 35 लाख हो गई। -(एजेंसी)