नई दिल्ली। सरकार ने हजार और पांच सौ के नोटों को बंद तो कर दिया है लेकिन लोगों की परेशानियों को देखते हुए कुछ जगहों पर इन्हें काम में लेने की सुविधा भी दी गई है। आम आदमी की जगह कालाधन रखने वाले इन सुविधाओं को अपनाकर गलत तरीके से अपना धन ठिकाने लगा रहे हैं। पेट्रोल पंप, अस्पताल, रेलवे स्टेशन और बस स्टेंडों पर तो ये नोट चल ही रहे हैं इसके अलावा एक और तरीके से लोग अपने काले धन को सफेद करने में लगे हुए हैं। आपको बता दें कि देश के पूर्वोत्तर राज्यों में पैसे भेजकर काले धन को सफेद बनाने का गोरखधंधा चल रहा है।
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हाल ही में हरियाणा से नागालैंड पैसे भेजे जाने का एक मामला सामने आया जिसके बाद ये खुलासा हुआ। मिडिया खबरों के अनुसार, भारत के आयकर कानूनों के मुताबिक आय की कई श्रेणियों और समाज के कुछ वर्गों को टैक्स से छूट दी गई है। नागालैंड, मणिपुर, त्रिपुरा, अरुणाचल प्रदेश और मिजोरम की अनुसूचित जनजाति के लोगों को आयकर टैक्स देने से छूट मिली हुई है।
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असम के नॉर्थ कचार हिल्स और मिकिर हिल्स, मेघालय के खासी हिल्स, गारो हिल्स और जयंतिया हिल्स, जम्मू-कश्मीर के लद्दाख में बसने वाली अनुसूचित जनजातियों को इनकम टैक्स से छूट मिली हुई है। इन्हें किसी भी स्रोत से हुई आय या कहीं से भी सिक्यॉरिटीज पर ब्याज के रूप में होने वाली आय पर टैक्स अदा नहीं करना पड़ता है। ऐसी ही छूट सिक्किम वासियों को भी मिली हुई है। इस छूट का मकसद पिछड़े क्षेत्र और समुदायों के बीच वित्तीय असमानता को दूर करना है लेकिन, नोटबंदी के बाद लोग काले धन को सफेद करने के लिए इसका गलत इस्तेमाल करने लगे हैं।
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